गहमर। तहसील के किसानों द्वारा किसान नेता भानु प्रताप सिंह के अगुवाई में दिए गए पत्रक पर शनिवार को नहर विभाग द्वारा बड़ी कार्रवाई करते हुए जेसीबी से फरीदपुर गांव के पास बांधे गए नहर को खुलवाया और पानी छोड़वाया।
किसान नेता भानु प्रताप सिंह की अगुवाई में क्षेत्र के दर्जनों किसानों ने उप जिलाधिकारी को पत्र देते हुए नहर को काश्तकारों द्वारा बांध कर पानी रोके जाने की शिकायत की थी। जिस पर उपजिलाधिकारी बिक्रम सिंह ने कार्रवाई करते हुए संबंधित विभाग के एक्सीयन व जेई को बांध खुलवाने के साथ ही नहर में पूरी क्षमता के साथ पानी छोड़ने के लिए निर्देशित किया था। उप जिलाधिकारी के निर्देश के बाद विभाग के जेई के देखरेख में दर्जनों किसान की मौजूदगी में जेसीबी द्वारा फरीदपुर गांव के पश्चिम पुलिया के पास काश्तकारों द्वारा बांधे गए नहर को खुलवाया और पानी आगे की काश्तकारों के सिंचाई के लिए छोड़ा गया विभाग की इस कार्रवाई से जहां किसानों में हर्ष व्याप्त है वहीं किसानों ने क्षेत्र के अन्य काश्तकारों द्वारा मनमुटाव एवं मारपीट की भी आशंका व्यक्त की किसान नेता भानु प्रताप सिंह ने बताया कि कई बार उसिया फरीदपुर आज गांव के किसानों द्वारा किस तरह का रवैया अपनाया जाता है जिसके कारण सेवराई मनिया मिश्रौलिया पचौरी देवकली आदि गांव के किसानों को सिंचाई के लिए पानी उपलब्ध नहीं हो पाता आपत्ति करने पर किसान मारपीट के लिए आमादा हो जाते हैं ऐसे में प्रशासन की थोड़ी सी चूक किसानों के लिए घातक हो सकती है। मुन्ना सिंह ने बताया कि किसान कड़ी मेहनत करके अपनी फसल के लिए पानी तो चढ़ाता है लेकिन दिन ढलने के साथ ही नजदीक के किसानों द्वारा पुनः नाहर को बांध दिया जाता है अगर विभाग द्वारा कोई कर्मचारी नियुक्त कर नाहर बांधने वाले काश्तकारों के खिलाफ कार्रवाई की जाती है तब इस समस्या में कोई सुधार आ सकता है। इस मौके पर झूरी सिंह, आशु सिंह, दीपक कुमार सिंह, दारा राय, सुदर्शन, टिंकू सिंह, अजय सिंह, सोमदेव, अशोक, मदन आदि सहित दर्जनों किसान मौजूद रहे।इस बाबत चौधरी चरण सिंह पंप कैनाल के जेई अखिलेश कुमार यादव ने बताया कि किसानों की शिकायत पर उप जिलाधिकारी के निर्देशानुसार फरीदपुर गांव के पास काश्तकारों द्वारा बांधी गई नहर को खुलवाया गया है जिससे क्षेत्रीय किसानों को पानी उपलब्ध कराया जा सके। विभाग के द्वारा कर्मचारियों की तैनाती कर देख रेख की जाएगी व नहर बांधने वाले काश्तकारों के खिलाफ दंडात्मक कार्यवाही किया जाएगा। अन्यथा की स्थिति में प्रशासन को साथ लेकर संबंधित के विरुद्ध कार्यवाही की जाएगी।