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समाधान दिवस में एसडीएम व अधिवक्ताओं से हुई कहासुनी

जमानियां। तहसील मुख्यालय के सभागार में मंगलवार को उपजिलाधिकारी सत्यप्रिय सिंह की अध्यक्षता में समाधान दिवस सम्पन्न हुई।
समाधान दिवस पर पहुंचे फरियादियों की समस्याएं सुन कर उसके निस्तारण कराने में व्यस्त थे। इसी बीच कुछ लोग पहुंचे और पैमाइश के प्रकरण को लेकर एसडीएम से कहा सूनी करने लगे। पहले तो एसडीएम कुछ समझ नहीं पाये। कुछ देर बाद एसडीएम को पूरा प्रकरण समझ में आ गया। उन्होंने कहा कि न्यायालय के प्रकरण में न्यायालय में वार्ता किया जाना उचित है लेकिन कोई फायदा नहीं हुआ। जिसके बाद अधिवक्ता बार के अध्यक्ष को पूरा वाक्या बताया। जिस पर अध्यक्ष गोरख नाथ सिंह ने जब जानकारी लेनी चाही तो उस दौरान एसडीएम कोतवाल से वार्ता कर रहे थे। इस बीच अध्यक्ष द्वारा बार बार बीच में बोलने ने एसडीएम नाराज हो गये। जिस पर अध्यक्ष गोरख नाथ सिंह से उनकी कहा सूनी हो गयी। जिसके बाद नाराज अधिवक्ताओं ने नारे बाजी शुरू कर दी। एसडीएम सत्यप्रिय सिंह ने बताया कि अधिवक्ता ड्रेस में नहीं थे और न्यायालय में किये गये आदेश के बाबत वर्ता कर रहे थे। मुझे यह जानकारी नहीं थी कि जो वार्ता कर रहा है वह बार के अध्यक्ष व पीछे खड़े लोग अधिवक्ता है। जिस कारण से कुछ गलत फैमी हो गयी। न्यायालय के किसी फैसले से किसी को कोई आपत्ति है तो उच्च न्यायालय में वाद दायर कर सकता है‚ अपील कर सकता है लेकिन पब्लिक डोमेन पर न्यायालय के आदेश के बारे में सवाल उठाना ठिक नहीं है।