ग़ाज़ीपुर। राष्ट्रीय बधिरता रोकथाम एवं नियंत्रण कार्यक्रम के तहत बुधवार को जिला अस्पताल के प्रथम तल पर ऑडियोमेट्री रूम का उद्घाटन मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ जी सी मौर्य ने किया जिसमें नवजात बच्चों और अन्य लोगों में सुनने की समस्या का निःशुल्क इलाज किया जाएगा।
मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ जीसी मौर्य ने बताया कि बधिर लोगों के लिए आज से शुरू किए गए साउंडप्रूफ कक्ष में जांच के लिए तीन स्टाफ की नियुक्ति की गई है जो कान के मरीज की उपलब्ध मशीनों से जांच करेंगे और उनके जांच रिपोर्ट के अनुसार बेहतर तरीके से उनका इलाज करेंगे। उन्होंने बताया कि इसके साथ ही यहाँ दिव्यांगता के रोगियों की जांच की सुविधा उपलब्ध रहेगी।
एसीएमओ और नोडल अधिकारी डॉ के के वर्मा ने बताया कि बहुत सारे बच्चे जो अधिक समय हो जाने के बाद सुन-बोल नहीं पाते हैं तो ऐसे बच्चे की जांच यहां पर आसानी से की जा सकती है। बच्चा किन कारणों से सुन-बोल नहीं पा रहा है। ऐसे में बच्चों की जांच कर उनका इलाज समुचित तरीके से जनपद में रहकर ही किया जा सकता है।
डॉ केके वर्मा ने बताया कि भारत में सुनने में असमर्थ लोगों व बच्चों के लिए असली मुद्दा सुविधाओं की अपर्याप्तता है। नवजात में सुनने में असमर्थता होने के पीछे वंशानुगत व अवंशानुगत, आनुवंशिक कारकों, गर्भावस्था और प्रसव के दौरान समस्या जैसे कई कारण होते हैं। भारत में 6.3 फीसदी लोग सुनने में असमर्थता से ग्रस्त हैं। शहरी इलाकों की तुलना में ग्रामीण इलाकों में बहरेपन से अधिक लोग ग्रसित पाए जाते हैं।
इस अवसर पर जिला अस्पताल के सीएमएस डॉ निसार, एसीएमओ डीपी सिन्हा, डॉ के के सिंह, डॉ तनवीर, सहित समस्त स्टाफ मौजूद रहा।