Skip to content

खादी तथा ग्रामोद्योग बोर्ड द्वारा संचालित योजनाऍ

गाजीपुर। (लेख सम्बन्धी)उ0प्र0,खादी तथा ग्रामोद्योग बोर्ड द्वारा संचालित योजनाऍ जिला ग्रामोद्योग अधिकारी- वी0 के0 सिंह
1- भारत सरकार द्वारा संचालित प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम।
2- पं0 दीनदयाल ग्रामोद्योग रोजगार योजना।
3- राज्य सरकार द्वारा संचालित मुख्यमंत्री ग्रामोद्योग रोजगार योजना।
4- मुख्यमंत्री माटीकला रोजगार योजना।
5- माटीकला टूल्स-किट्स वितरण योजना।
1- प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम
परियोजना का अधिकतम आकार एवं शैक्षिण योग्यता- विनिर्माण क्षेत्र के लिए रू0 25.00 लाख और सेवा के लिए 10.00 लाख रूपये तथा योग्यता न्यूनतम आठ पास होना अनिवार्य है।
उद्यमिता विकास कार्यक्रम प्रशिक्षण- 2 सप्ताह का उद्यमिता विकास कार्यक्रम अनिवार्य है जो आवेदक पहले प्रशिक्षण ले चुके है उनके लिए आगे प्रशिक्षण में छूट होगी।
लाभार्थी का चयन- लाभार्थी का चयन जिला मजिस्ट्रेट/जिला उपायुक्त/कलेक्टर की अध्यक्षता में गठित जिला कार्यदल समिति द्वारा साक्षात्कार के माध्यम से होगा।
परियोजना की मंजूरी- तकनीकी आर्थिक ब्यवहार्यता के अनुसार बैंको की वित्त पोषक शाखा से परियोजना को मंजूरी देगा।
बैंक ऋण की मंजूरी एवं निजी अंशदान- बैंक परियोजना लागत की 90 से 95 प्रतिशत मंजूर और जारी करेंगें। सामान्य श्रेणी के लाभार्थी के मामले में परियोजना लागत का 10 प्रतिशत व अन्य श्रेणी के लाभार्थियों के मामले में परियोजना लागत का 5 प्रतिशत अंशदान लगाया जाता है। योजना के अर्न्तगत सरकारी अनुदान का स्तर- सम्बन्धित ऋण प्राप्त करने वाले अभ्यर्थियों को सामान्य जाति के लिए 25 प्रतिशत एवं अनुसूचित जाति, जनजाति, महिला, अति पिछड़ा वर्ग, विकलांग, अल्पसंख्यक, भूतपूर्व सैनिक को 35 प्रतिशत सरकारी अनुदान दिये जाने का प्राविधान है।
2- पं0 दीन दयाल ग्रामद्योग रोजगार योजना- पं0 दीनदयाल ग्रामोद्योग रोजगार मई 2018 से लागू की गई है। योजनान्तर्गत प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम योजना में ग्रामीण क्षेत्रों में बैंको से वित्तपोषित स्थापित (के0वी0आई0बी0, डी0आई0सी0, के0वी0आई0सी0) इकाईयों को अधिकतम 03 वर्ष तक
ब्याज दिये जाने का प्राविधान है।
3- राज्य सरकार की मुख्यमंत्री ग्रामोद्योग रोजगार योजन- ग्रामीण
क्षेत्रों में बढ़ती बेरोजगारी का समाधान करने श्रमशक्ति एवं शिक्षित
युवक/युवतियों का ग्रामीण क्षेत्र एवं शहरों की ओर पलायन हतोत्साहित करने तथा ग्रामीण क्षेत्र में ही रोजगार/स्वरोजगार के अधिकाधिक अवसर उपलबघ कराने के उद्देश्य से ‘‘मुख्यमंत्री ग्रामोद्योग रोजगार योजना’’ को लागू किया गया है। वित्तिय सहायता बैंक के माघ्यम से किया जाना है। उक्त योजना
के अर्न्तगत पूॅंजीगत मद में सामान्य वर्ग के लाभार्थियों को 4 प्रतिशत से अधिक शेष ब्याज की धनराशि ब्याज उपादान योजना के रूप में बैंको को उपलब्ध करायी जायेगी तथा आरक्षित वर्ग के लाभार्थियों (अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति, पिछढ़ा वर्ग, अल्पसंख्यक, विकलांग, महिलायें एवं भूतपूर्व सैनिक) को पूॅंजीगत ऋण पर ब्याज की सम्पूर्ण धनराशि जिला योजना के अर्न्तगत इकाई कार्यरत रहने की दशा में उपलब्ध करायी जायेगी। इस योजना के अर्न्तगत लाभार्थी की उम्र 18 वर्ष से 50 वर्ष तक निर्धारित है।
4- मुख्यमंत्री माटीकला रोजगार योजना- इस योजनान्तर्गत
कुम्हार/प्रजापति समाज के शिक्षित लाभार्थियों को मिट्टी के आधुनिक प्रकार के बर्तनों को बनाये जाने हेतु अधिकतम रू0-10.00 लाख तक के ऋण की वित्तीय सहायता नियमानुसार बैंक के माध्यम से क्रियान्वित किये जाने का प्राविधान है। जिसमें पूॅंजीगत ऋण पर 25 प्रतिशत के अनुदान की धनराशि लाभार्थी को अनुमन्य है। योजना के अर्न्तगत लाभार्थी की उम्र 18 वर्ष से
50 वर्ष तक निर्धारित है।
5- माटीकला टूल्स-किट्स वितरण योजना- इस योजनान्तर्गत कुम्हार/प्रजापति समाज के परम्परागत कारीगरों को जो मिट्टी के कलात्मक बर्तन अनाते हैं, उनको निःशुल्क विद्याुत चालित चाक जनपद स्तर पर गठित चयन समिति के अनुमोदनोपरान्त दिये जाने का प्राविधान है। योजना के अर्न्तगत लाभार्थी की उम्र 18 वर्ष से 50 वर्ष तक निर्धारित है। जनमानस से अपील है कि समस्त
प्रमाण पत्रो के साथ सरकार की योजनाओ का लाख प्राप्त करे।अपेक्षित
दस्तावेजः- निवास प्रमाण पत्र, जाति प्रमाण पत्र, शैक्षिक योग्यता, आधार कार्ड, पैन कार्ड, बैंक पास बुक की फोटो कापी, परियोजना प्रस्ताव।