गाजीपुर। 10 जून 2021, सचिव, जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, गाजीपुर, सुश्रीकामायनी दूबे ने बताया कि उ0प्र0 राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण, लखनऊ के
निर्देशानुसार एवं माननीय जनपद न्यायाधीश/अध्यक्ष, जिला विधिक सेवाप्राधिकरण, गाजीपुर श्री प्रशांत मिश्र के संरक्षण एवं अनुमति से जिलाविधिक सेवा प्राधिकरण के तत्वाधान में आज दिनांक 10.06.2021 को जिला
कारागार, गाजीपुर का विडियों कान्फ्रेसिंग द्वारा निरीक्षण तथा प्लीबारगेंनिग विषय पर विधिक जागरूकता शिविर का आयोजन किया गया। सचिवद्वारा बंदियों से उनकी समस्याओं के बारे में जानकारी प्राप्त की गयी।
जेल अधिकारियों द्वारा बताया गया कि वर्तमान में कुल 976 बंदी निरूद्ध है। उन्होंने यह भी बताया गया कि सात वर्ष से कम सजा वाले समस्त कैदी छोड़े जा रहे है।
तथा सिद्धदोष बंदी जिनकी स्वीकृति शासन द्वारा दी गयी थी। उनको भी पैरोल पर रिहा किया जा चुका है। प्लीबारगेंनिग समझौते का एक तरीका है जिसमें अभियुक्त कम सजा के बदले में अपने द्वारा किये गये अपराध को स्वीकार करके और पीड़ित व्यक्ति को नुकसान और मुकदमें के दौरान हुए। खर्च की क्षतिपूर्ति कर ले तो कठोर सजा से बच सकता है। इसके अतिरिक्त 436 ए के लाभ के विषय पर बताया गया कि किसी व्यक्ति किसी अपराध के(मृत्युदण्ड को छोड़कर) इस संहिता के अधीन अन्वेषण, जांच या विचारण की
अवधी के दौरान कारावास की उस विधि के अधीन उस अपराध के लिए विनिर्दिष्टकी गयी है कि आधे से अधिक के लिए कारागार निरूद्ध रह चुका है वहांप्रतिभुवो सहित या रहित व्यक्तिगत बंद पर न्यायालय द्वारा लोक अभियोजन को सुनने के पश्चात छोड़ा जा सकता है। आगे यह भी बताया गर्याे है कि कोविड-19 के समय में वर्चुवल बैठक का आयोजन समय-समय पर किया जायेगा। इस मौके पर जेल , डिप्टी जेलर, बंदी आदि उपस्थित रहे।