जमानियाँ। स्थानीय क्षेत्र के ग्राम बरूइन स्थित गोपाल सिंह के हाते में श्री राजपूत करणी सेना के तत्वाधान में सोमवार को सम्राट मिहिर भोज की जयंति धूम धाम से मनायी गई।
कार्यक्रम का शुरुआत दीप प्रज्ज्वलित कर सम्राट मिहिर भोज के चित्र पर माल्यार्पण कर किया गया।
उक्त अवसर पर साहित्यकार राजेन्द्र सिंह ने कहा कि मिहिर राजा भोज एक कुशल प्रशासक थे। भारतीय उपमहाद्वीप के उत्तरी हिस्से में लगभग 49 वर्षों तक इन्होंने सफलता पूर्वक शासन किया। अरब आक्रमणों को रोकने में इनकी प्रमुख भूमिका रही थी। सभी समाज को जोड़ कर चलने में ये माहिर थे। मध्य काल से लेकर आधुनिक काल तक राजपूतों का सर्वणीम इतिहास रहा है। इतिहास दुहराने की जरूरत नही है बल्कि इतिहास रचने की आवश्यकता है। ईष्या, द्वेष, क्रोध को त्याग कर एक मजूबत समाज की संरचना करनी होगी तभी हम अपने उद्देश्य में सफल हो सकते है।
यह संगठन युवाओं की चट्टानी एकता का प्रतीक है। नाकारात्मक संघर्ष हमकों अवनति के मार्ग पर ले जाता है जबकि सकारात्मक संघर्ष सफलता का मार्ग प्रशस्त करता है।
प्रबन्धक उपेन्द्र सिंह शिवजी ने कहा है कि इतिहास पढ़ कर भविष्य को सवारने की आवश्यक्ता है। आरक्षण राजपूत समाज के प्रगति में बाधक है। ऐसी स्थिति में बच्चों की शिक्षा को मजबूत करना होगा तभी हम समाज को मजबूत कर सकते है।
शिक्षक उमाकांत सिंह ने कहा कि संगठन को मजबूत करने की आवश्यक्ता है। मजबूत संगठन के द्वारा ही हम अपने उद्देश्य को प्राप्त कर सकते है। शिक्षक संतोष सिंह पिन्टू ने कहा कि मिहिर राजा भोज के पदचिन्हों पर चलने की आवश्यकता है। उक्त मौके पर पूर्व प्रधानाचार्य छेदी सिंह, पूर्व प्रधानाध्यापक रामअवतार सिंह, रामअवध सिंह, गोरख सिंह, संसार सिंह, विधानसभा अध्यक्ष सैदपुर प्रिंस सिंह, अशोक सिंह, दिलीप सिंह, डा० राकेश सिंह, श्रीराम सिंह, अभिषेक सिंह, शैलेश सिंह, संतोष सिंह, अमरनाथ सिंह, अजय सिंह आदि लोग मौजूद रहे। कार्यक्रम का संचालन जयप्रकाश सिंह व आभार व्यक्त श्री राजपूत करणी सेना के जिलाध्यक्ष सुभाष सिंह ने किया।