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एक दिवसीय धरना प्रदर्शन में सपा-सुभासपा के नेताओं ने सरकार पर लगाये गम्भीर आरोप

गाजीपुर। सपा-सुभासपा के संयुक्त तत्वावधान में शुक्रवार को सुभासपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं जहूराबाद के विधायक ओमप्रकाश राजभर के साथ हुई बदसलूकी तथा उल्टे उन पर मुकदमा दर्ज करने एवं पुलिस द्वारा दोषियों के खिलाफ कार्रवाई न करने के विरोध में तथा उनके ऊपर फर्जी तौर पर दर्ज मुकदमे को वापस लेने और दोषियों को तत्काल गिरफ्तार करने की मांग के साथ नेता प्रतिपक्ष रामगोविन्द चौधरी के नेतृत्व में सरजू पांडे पार्क में एक दिवसीय धरना प्रदर्शन कार्यक्रम का आयोजन किया गया।

पूर्वांचल के लगभग सभी जिले से आए समाजवादी पार्टी के तमाम दिग्गज नेताओं की मौजूदगी में पूर्व नेता प्रतिपक्ष राम गोविंद चौधरी ने आक्रोश व्यक्त करते हुए कहा कि भाजपा सरकार तानाशाही के रास्ते पर है। वह लोकतंत्र की हत्या करने पर उतारू है। जब विरोधी दल का नेता न किसी के घर संवेदना व्यक्त करने और न किसी कार्यक्रम में शामिल हो पायेगा तो प्रदेश में लोकतंत्र कहां ? उन्होंने भाजपा सरकार को ज़ालिम बताते हुए कहा कि प्रदेश के गुंडों और माफियाओं को सत्ता का संरक्षण प्राप्त है। प्रदेश के गुंडे और माफिया भाजपा नेताओं के इशारे पर विरोधी दल के नेताओं पर हमले कर रहे हैं। गुंडे , माफिया और पुलिस बेलगाम हो गये है। सरकार का इन पर कोई नियंत्रण नहीं रह गया है। भाजपा सरकार में समाजवादियों एवं उनके सहयोगी दलों के नेताओं एवं कार्यकर्ताओं के साथ अन्याय और उत्पीड़न किया जा रहा है। यह सरकार अन्याय और ज़ुल्म के खिलाफ आवाज उठाने वाले राजनीतिक दलों के कार्यकर्ताओं को पुलिस एवं गुंडों की लाठी गोली के बल पर कुचलना चाहती है। इस सरकार से न्याय की उम्मीद करना बेकार है। उन्होंने कहा कि सरकार का काम होता है जनता की बुनियादी जरूरतों को पूरा करना मगर जनता के बुनियादी सवालों को हल करने में विफल भाजपा सरकार जनता का ध्यान इन सवालों की तरफ से भटकाने के लिए मंदिर मस्जिद का खेल खेलने लगती है। इस प्रदेश में कानून व्यवस्था नाम की कोई चीज नहीं बची है । उन्होंने कहा कि यदि दोषियों के खिलाफ कार्रवाई नहीं हुई तो प्रदेश की ईंट से ईंट बजा दी जायेगी।
सुभासपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष ओमप्रकाश राजभर ने अपने साथ घटी घटना का जिक्र करते हुए कहा कि यह हमला दलितों, वंचितों और पिछड़ों के हक हकूक के लिए उठ रही हमारी आवाज पर हमला है। उन्होंने कहा मैं गरीबों, दलितों, पिछड़ों की आवाज उठाता रहूंगा चाहे इसके लिए कोई भी कुर्बानी देनी पड़े। उनके अधिकारियों को चेतावनी देते हुए कहा कि जेल का दरवाजा खुला रक्खें, मैं किसी भी ताकत के सामने झुकने वाला नहीं हूं। उन्होंने कहा कि भाजपा लगातार हमें जान से मारने की साज़िश रच रही है। यह चौथी घटना है हमें जान से मारने की। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री की जाति का होने की वजह से पुलिस दोषियों की मदद कर रही है। उन्होंने जिला एवं पुलिस प्रशासन द्वारा कार्यक्रम की अनुमति होने के बावजूद टेंट और माइक उखाड़ने पर एतराज़ जताया और कोतवाल के खिलाफ कार्रवाई की मांग किया।
इस धरना प्रदर्शन के कार्यक्रम में मुख्य रूप से विधायक अम्बिका चौधरी, दुर्गा यादव, ओमप्रकाश सिंह, डॉ वीरेंद्र यादव, संग्राम यादव, आशुतोष सिन्हा, सुभासपा के जिलाध्यक्ष लल्लन राजभर, बेदी राम, जै किशन साहू, प्रभु नारायन यादव, पूर्व सांसद जगदीश कुशवाहा, राम किशुन यादव, पूर्व मंत्री शैलेन्द्र यादव ललई, मन्नू अंसारी, नफीस अहमद, राजमंगल यादव, दरोगा प्रसाद सरोज, बेच ई सरोज, जय प्रकाश अंचल, मो.रिजवी, प्रेमचंद प्रजापति, डॉ नन्हकू यादव, दिनेश यादव, अरुण कुमार श्रीवास्तव, राम दहिन पासवान, शक्ति सिंह, संतोष पाण्डेय, राजेश कुशवाहा, परशुराम राजभर, प्रभाकर जायसवाल, डॉ बलिराम राजभर, विच्छेलाल राजभर, कालूराज्ञम प्रजापति, अमरजीत बिंद,जयनाथ राजभर, राजेश सिंह, डॉ एच एन सिंह पटेल, लाल बहादुर यादव, कमलाकांत राजभर, पूजा सरोज, हवलदार यादव, सत्यनारायण राजभर, राम जतन राजभर, संग्राम यादव आदि उपस्थित थे। धरना प्रदर्शन के अन्त मे चार सूत्रीय ज्ञापन उपजिलाधिकारी सदर को सौंपा गया। धरने की अध्यक्षता जिलाध्यक्ष रामधारी यादव एवं संचालन जिला उपाध्यक्ष कन्हैया लाल विश्वकर्मा ने किया।