गाजीपुर। आचार्य नरेंद्र देव कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय कुमारगंज अयोध्या द्वारा संचालित कृषि विज्ञान केंद्र अंकुशपुर में एक दिवसीय विराट किसान मेले का आयोजन किया गया।
जो किसान महिला राष्ट्रीय कृषि विकास योजना के अंतर्गत श्री अन्न पोषक खाद्यान्न एवं पर्यावरण सुरक्षा विषय के अंतर्गत लगाया गया। इस किसान मेले के मुख्य अतिथि जिला पंचायत अध्यक्ष सपना सिंह तथा डॉक्टर ए पी राव निदेशक प्रसार नरेंद्र देव कृषि विश्वविद्यालय कुमारगंज अयोध्या के द्वारा फीता काटकर तथा दीप प्रज्जवलित करके मेले का उद्घाटन किया गया। तत्पश्चात मेले में लगाए गए स्टालों का मुख्य अतिथि के द्वारा भ्रमण किया गया। भ्रमण के द्वारा स्टालों पर विभिन्न प्रकार की सब्जियां, फल-फूल की नर्सरी, प्राकृतिक खेती, बकरी व मुर्गी पालन, मृदा प्रोफाइल तथा आधुनिक कृषि यंत्र तथा जैविक खेती के स्टाल लगाए गए थे। मेले में लगाए गए सभी स्टालों को देखकर मुख्य अतिथि द्वारा सराहना की गई। जिला पंचायत अध्यक्ष सपना सिंह ने अपने संबोधन में कहा कि कृषकों के सतत प्रयास से बेहतर खाद्य सुरक्षा एवं पोषण सुनिश्चित होती है। समाज के भाग्य विधाता तथा अन्नदाता है। निदेशक प्रसार कुमारगंज अयोध्या डॉ ए पी राव द्वारा ने अपने संबोधन में कहा कि खाद्यान्न उत्पादन में वैज्ञानिकों और किसानों के सफल प्रयास से बेहतर परिणाम मिले हैं। इसके साथ ही मोटे अनाज की खेती प्राकृतिक खेती तथा जैविक खेती पर भी प्रकाश डालें, कृषि विज्ञान केंद्र अंकुश पुर के वरिष्ठ वैज्ञानिक तथा हेड ने केंद्र पर चल रहे विभिन्न गतिविधियों को बताते हुए कार्यक्रम में विशिष्ट अतिथियों का स्वागत किया। विशिष्ट अतिथि अतिंद्र सिंह उप निदेशक कृषि ने खाद्यान्न उत्पादन में अन्नदाता किसानों की सराहना की और बताया कि किसानों सतत प्रयास के द्वारा ही पोषण की व्यवस्था सुनिश्चित होती है। कृषि विज्ञान केंद्र गाजीपुर के वरिष्ठ वैज्ञानिक डॉ डीके सिंह द्वारा भूमि की उर्वरा शक्ति कैसी बनी रहे पर विशेष प्रकाश डाला, कृषि विज्ञान केंद्र अंकुशपुर के वैज्ञानिक डॉ अविनाश कुमार राय के द्वारा प्राकृतिक खेती और जैविक खेती पर प्रकाश डाला गया और जीवामृत बनाने और उसके प्रयोग के बारे में जानकारी दी गई। डॉ नरेंद्र प्रताप वैज्ञानिक के द्वारा बीजू को उपचारित करने के बारे में विशेष रूप से चर्चा की गई। इस किसान मेले में लगभग 500 से अधिक पुरुष व महिलाएं कृृृषक उपस्थित रहे। केंद्र के अन्य वैज्ञानिक डॉ ए के सिंह, डॉ शशांक सिंह डॉक्टर शशांक शेखर, किरन, कार्यालय अधीक्षक तथा अन्य कर्मचारी गण उपस्थित रहे। कार्यक्रम का संचालन डॉ जेपी सिंह के द्वारा किया गया।