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विश्व मलेरिया दिवस को लेकर लोगों को किया गया जागरूक

ग़ाज़ीपुर (25 अप्रैल 23)। दुनिया भर में विश्व मलेरिया दिवस 25 अप्रैल को मनाया जाता है। इस दिन को मनाने की शुरुआत वर्ष 2007 से की गई थी। इसी को लेकर आज गाजीपुर जनपद में भी विश्व मलेरिया दिवस मनाया गया इसी कड़ी में सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र मोहम्मदाबाद और हेल्थ एंड वैलनेस सेंटर एवं उप केंद्रों पर विश्व मलेरिया दिवस के रूप में मनाते हुए जन जागरूकता का कार्यक्रम किया गया।

सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र मोहम्मदाबाद के चिकित्सा अधीक्षक डॉ आशीष राय ने बताया कि साल 2007 से विश्व मलेरिया दिवस का आयोजन किया जा रहा है इसी को लेकर आज सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र मोहनदाबाद और उसके अंतर्गत चलने वाले हेल्थ एंड वैलनेस सेंटर एवं उप केंद्रों पर मलेरिया से लोगों को जागरूक करने के बारे में जानकारी दी गई। उन्होंने बताया कि इस दिवस को मनाने का मकसद मलेरिया के प्रति लोगों की जागरूकता बढ़ाना है। हर साल की तरह इस वर्ष भी मलेरिया दिवस हेतु एक खास थीम यानी मलेरिया से लडने के लिए तैयार रखी गई है।

इसका मकसद लोगों को मलेरिया से निपटने के लिए तैयार कर जागरूक करना। मलेरिया मादा मच्छर ऐनाफेलीज के काटने से होता है। बरसात के मौसम या वातावरण में नमी होने पर मलेरिया के मच्छर पनपने लगते है, और बीमारी फैलाते हैं। बुखार, सिर दर्द, उल्टी, ठंड लगना, थकान होना, चक्कर आना पेटों में दर्द रहना ये सब मलेरिया के कुछ सामान्य लक्षण है। आम तौर पर मलेरिया दो सप्ताह में ठीक हो जाता है। परन्तु बिमारी को नजरंदाज करना रोगी के लिए ख़तरनाक हो सकते है। मलेरिया होने पर मरीज को अपने खान-पान पर विशेष ध्यान रखना चाहिए। जैसे कार्बोहाइड्रेट से भरपूर आहार ले जैसे साबुत अनाज, बाजरा क्योंकि ये आहार जल्दी से शरीर को एनर्जी देते हैं। प्रोटीन युक्त खाद्य पदार्थ का सेवन बढ़ा दें। अपने शरीर को हाइड्रेट करे।

तरल पदार्थ जैसे गन्ने का रस, नारियल पानी, ताजे फलों का रस, नींबू पानी, सूप जैसी चीजें पिये, पीने के पानी को उबालकर कर पीये। क्योंकि इसमें के बैक्टीरिया उबलने से मर जाते है। तरल पदार्थ युरीन के रास्ते से शरीर में विषाक्त पदार्थों को बाहर निकालते है।

मलेरिया से बचाव हेतु हमें सदैव सोते समय मच्छरदानी का प्रयोग करना चहिए , घर के दरवाज़े एवं खिड़कियों पर जाली लगवाकर रखें ताकि मच्छर अंदर न आ सके घर के अंदर मासकिटो जलाए कीटनाशकों का छिड़काव कराये, पुरे बाजु के कपड़े पहने रात को शरीर ढका हुआ हो। घर के अन्दर की सफाई रखें तथा ऐसे स्थान जहां पानी इकट्ठा हो उसे नियमित साफ रखें। जिससे मच्छर पैदा न हो सके।

कार्यक्रम में ब्लॉक कार्यक्रम प्रबंधक संजीव कुमार, सीएचओ सितमा यादव, फार्मासिस्ट इमरान, कृष्ण कुमार, अजय राय इत्यादि क्षेत्रीय आशा, एएनएम एवं सीएचओ रही।