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जर्जर स्वास्थ्य केन्द्र में बॉटी जा रही सेहत की खुराक

जमानियाँ (गाजीपुर)। क्षेत्र के ग्राम बरुइन स्थित सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र का भवन पूरी तरह क्षतिग्रस्त हो गया। जगह-जगह फटे दिवाल व छत्त तथा बिना बाउण्ड्री वाल वाले इस अस्पताल में सेहत की खुराक बॉटी जा रही है। बिमार अस्पताल कैसे लोगों की सेहत सुधारेगा यह क्षेत्र में चर्चा का विषय बना हुआ है।

मानसून का माह नजदीक आ गया है इसके बावजूद भी बेहद जर्जर अवस्था में पहुंच चुके अस्पताल के भवन को न तो निष्प्रयोज्य घोषित किया गया न ही उनकी मरम्मत को लेकर कोई कवायद हो रही है। ऐसे में ड्यूटी करने वाले चिकित्सक तथा स्वास्थ्यकर्मी किसी भी अनहोनी को लेकर दहशत में हैं। वहीं मरीज भी अस्पताल के जर्जर भवनों से भयग्रस्त रहते है। सब कुछ जानने के बावजूद भी संबंधित जिम्मेदार अधिकारी उदासीन बने हैं।

यहां प्रतिदिन क्षेत्र सहित चन्दौली जनपद के समीपवर्ती क्षेत्र के 150 से ज्यादा मरीज इलाज कराने के लिए पहुंचते हैं। इसके बाद भी स्वास्थ्य विभाग उदासीन बना हुआ है। चिकित्सक तथा स्वास्थ्यकर्मी डर के साए में ड्यूटी करने के लिए मजबूर हैं। अस्पताल की दयनीय स्थिति के कारण स्थानांतरण से आये हुए चिकित्सक यहाँ योगदान करने से कतराते है। ज्ञात हो कि इस स्वास्थ्य केन्द्र का लोकापर्ण 18 जून 2003 को तत्कालीन सांसद मनोज सिन्हा के कर कमलों द्वारा हुआ था।

स्वास्थ्यकर्मियों का कहना है कि कई बार इस संबंध में विभागीय अधिकारियों को अवगत कराया जा चुका है, लेकिन बीते कई सालों से केवल आश्वासन मिल रहा हैं। बारिश में जर्जर भवन में काम करने के दौरान अनहोनी को लेकर डर बना रहता है। सीएचसी प्रभारी अधीक्षक डॉ आरके सिंह का कहना है कि अस्पताल के जर्जर भवन व टूटे बाउण्ड्री वाल तथा संसाधन की कमी के संबंध में विभागीय उच्चाधिकारियों को पत्र लिखकर अवगत कराया गया था। जिस पर अस्पताल के मरम्मत के लिए ₹ 12 लाख व रोगी कल्याण समिति में ₹ 5 लाख आया है। जल्द ही अस्पताल का जिर्णोद्धार व संसाधनों को बेहतर बनाया जायेगा।